अगले साल होने वाले लोकसभा चुनाव में सत्तारूढ़ एनडीए को टक्कर देने के लिए विपक्ष पुरजोर कोशिश कर रहा है। विपक्षी दलों ने भाजपा नीत राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन को चुनौती देने के लिए इंडियन नेशनल डेवलपमेंट इंक्लूसिव अलायंस (इंडिया) का गठन किया है।
इस मोर्चे में 26 दल शामिल हैं। हालांकि अभी तक इस बात पर आम सहमति नहीं बन पाई है कि INDIA गुटों का नेतृत्व कौन सा नेता करेगा।
इस बीच इंडिया टुडे-सीवोटर मूड ऑफ द नेशन सर्वे में दिलचस्प आंकड़े सामने आए हैं। सर्वे के अनुसार, राहुल गांधी INDIA गठबंधन का नेतृत्व करने के लिए पहली पसंद हैं। सर्वे में भाग लेने वाले 24 प्रतिशत लोगों ने राहुल गांधी के पक्ष में मतदान किया। दूसरे नंबर पर तृणमूल कांग्रेस प्रमुख ममता बनर्जी और आम आदमी पार्टी प्रमुख अरविंद केजरीवाल हैं। इन दोनों नेताओं के समर्थन में 15-15 प्रतिशत लोगों ने वोट किया। बाकी उत्तरदाता इस बात पर फैसला नहीं कर पाए कि इंडिया गुट का नेतृत्व करने के लिए सबसे अच्छा व्यक्ति कौन होगा।
इस साल जनवरी के मुकाबले, राहुल गांधी के समर्थन में संख्या बढ़ी है। जनवरी 2023 के सर्वे में केवल 13 प्रतिशत लोगों ने राहुल को चुना था। दूसरी ओर, केजरीवाल के लिए समर्थन 27 प्रतिशत से गिरकर 15 प्रतिशत हो गया। ऐसा प्रतीत होता है कि ‘भारत जोड़ो यात्रा’ ने राहुल गांधी के समर्थन में काम किया है क्योंकि 44 प्रतिशत उत्तरदाताओं ने कहा कि उनकी पदयात्रा के बाद से उनकी सार्वजनिक छवि में सुधार हुआ है। जबकि 33 प्रतिशत ने कहा कि उनकी छवि में कोई बदलाव नहीं हुआ है। 13 प्रतिशत ने कहा कि यात्रा के बाद उनकी छवि खराब हो गई है।
विपक्षी नेता के रूप में राहुल गांधी के प्रदर्शन के बारे में पूछे जाने पर, 34 प्रतिशत उत्तरदाताओं ने इसे “शानदार” बताया, जबकि 27 प्रतिशत ने इसे “खराब” कहा। अठारह प्रतिशत ने कहा कि यह “अच्छा” था जबकि अन्य 15 प्रतिशत ने कहा कि यह “औसत” था। लोकसभा सांसद के रूप में राहुल गांधी की अयोग्यता पर 31 फीसदी लोगों ने कहा कि यह “राजनीति से प्रेरित” था। हालांकि इतने ही (31 फीसदी) लोगों ने कहा कि यह “निष्पक्ष” था। इक्कीस प्रतिशत उत्तरदाताओं ने कहा कि यह “कठोर” कदम था।