पूर्वांचल के डॉन बृजेश सिंह और जेल में बंद डॉन मुख्तार अंसारी से जुड़े गाजीपुर के उसरी चट्टी कांड की गवाही शुरू हो गई। कोर्ट ने गवाहों के बयान दर्ज करना शुरू कर दिया है।
पिछले हफ्ते मामले में गवाह सरफराज उर्फ मुन्नी की गवाही दर्ज की गई थी। विशेष न्यायाधीश हरबंश नरायण ने बचाव पक्ष की जिरह के लिए 15 नवंबर की तारीख मुकर्रर की है।
इस बीच सोमवार को डॉन बृजेश सिंह के खिलाफ दाखिल अर्जी पर भी हाईकोर्ट में सुनवाई हुई। 37 साल पहले बृजेश सिंह पर चंदौली जिले में एक ही परिवार के 7 लोगों की हत्या करने का आरोप लगा था। इस मामले में बृजेश सिंह को ट्रायल कोर्ट से बरी किया जा चुका है। पीड़ित परिवार ने हाईकोर्ट में उस फैसले को चुनौती दी है।
बताया जा रहा है कि इस मामले में याची पक्ष की ओर से कुल 13 गवाहों के बयान कोर्ट के दर्ज कराए गए हैं। याची पक्ष के बयान दर्ज होने के बाद आरोपी पक्ष बृजेश सिंह के वकील की बहस भी पूरी हो चुकी है। इस मामले में बृजेश सिंह ने खुद को बेगुनाह बताया है। उधर, उसरी चट्टी कांड में अगली सुनवाई 15 नवम्बर को होनी है। उस दिन बचाव पक्ष के अधिवक्ता जिरह करेंगे।
मुख्तार अंसारी उस समय मऊ (सदर) विधानसभा क्षेत्र से विधायक थे। 15 जुलाई 2001 को अपने पैतृक घर मोहम्मदाबाद, गाज़ीपुर से मऊ जा रहे थे। रास्ते में उसरी चट्टी के पास स्वचालित हथियारों से लैस हमलावरों ने मुख्तार के काफिले पर हमला कर दिया। इस हमले में तीन लोगों की मौत हो गई थी जबकि नौ लोग घायल हो गए थे।
हमले का आरोप बृजेश सिंह, त्रिभुवन सिंह और उनके साथियों पर लगा था। हमले में मुख्तार के अंगरक्षक रामचंद्र प्रदीप और बाबू की मौत हो गई थी। घटना में मुख्तार अंसारी की दो गाड़ियां भी बुरी तरह क्षतिग्रस्त हो गई थीं। जांच के बाद पुलिस ने गाजीपुर कोर्ट में बृजेश सिंह और त्रिभुवन सिंह के खिलाफ चार्जशीट दाखिल की थी।
गाजीपुर की अपर जिला जज की अदालत ने 11 जनवरी 2013 को आरोप तय किए थे। इसके बाद इस मामले को लखनऊ की एमपी-एमएलए कोर्ट में भेज दिया गया था। अब मामले में गवाही और जिरह शुरू हो गई है।