सप्ताह में हर दिन किसी न किसी देवी देवता की पूजा को समर्पित होता हैं वही गुरुवार का दिन भगवान विष्णु की पूजा को समर्पित हैं। इस दिन भक्त भगवान विष्णु की विधिवत पूजा करते हैं और व्रत आदि भी रखते हैं मान्यता है कि ऐसा करने से प्रभु प्रसन्न होकर अपनी कृपा करते हैं और भक्तों के सभी दुखों को दूर कर देते हैं।
लेकिन इसी के साथ ही अगर गुरुवार के दिन भगवान विष्णु के चमत्कारी मंत्रों का जाप किया जाए तो प्रभु का आशीर्वाद प्राप्त होता हैं जिससे दुख परेशानियों से छुटकारा मिल जाता हैं और सुख में वृद्धि होती हैं तो आज हम आपके लिए लेकर आए हैं भगवान विष्णु के चमत्कारी मंत्र।
गुरुवार के मंत्र-
संकटमोचन नरसिंह मंत्र-
ध्याये न्नृसिंहं तरुणार्कनेत्रं सिताम्बुजातं ज्वलिताग्रिवक्त्रम्।
अनादिमध्यान्तमजं पुराणं परात्परेशं जगतां निधानम्।।
आपत्ति निवारक मंत्र-
ॐ उग्रं वीरं महाविष्णुं ज्वलन्तं सर्वतोमुखम्।
नृसिंहं भीषणं भद्रं मृत्यु मृत्युं नमाम्यहम्॥
नरसिंह गायत्री मंत्र-
ॐ वज्रनखाय विद्महे तीक्ष्ण दंष्ट्राय धीमहि |
तन्नो नरसिंह प्रचोदयात ||
बाधा नाशक नरसिंह मंत्र-
“ॐ नृम मलोल नरसिंहाय पूरय-पूरय”
ऋण मोचक मंत्र-
“ॐ क्रोध नरसिंहाय नृम नम:”
शत्रु नाशक मंत्र-
“ॐ नृम नरसिंहाय शत्रुबल विदीर्नाय नमः”
नरसिंह यश रक्षक मंत्र-
“ॐ करन्ज नरसिंहाय यशो रक्ष”
भगवान नरसिंह मंत्र-
ॐ नमो भगवते तुभ्य पुरुषाय महात्मने हरिंऽद्भुत सिंहाय ब्रह्मणे परमात्मने।
ॐ उग्रं उग्रं महाविष्णुं सकलाधारं सर्वतोमुखम्।
नृसिंह भीषणं भद्रं मृत्युं मृत्युं नमाम्यहम्।
भगवान विष्णु मंत्र-
विष्णु रूपं पूजन मंत्र-शांता कारम भुजङ्ग शयनम पद्म नाभं सुरेशम।
विश्वाधारं गगनसद्र्श्यं मेघवर्णम शुभांगम।
लक्ष्मी कान्तं कमल नयनम योगिभिर्ध्यान नग्म्य्म।
ध्यान मंत्र-
रत्नाष्टापद वस्त्र राशिममलं दक्षात्किरनतं करादासीनं,
विपणौकरं निदधतं रत्नदिराशौ परम्।
पीतालेपन पुष्प वस्त्र मखिलालंकारं सम्भूषितम्,
विद्यासागर पारगं सुरगुरुं वन्दे सुवर्णप्रभम्।।