पाकिस्तान में जारी सियासी उठापटक के बीच आज प्रधानमंत्री इमरान खान ने राष्ट्र को संबोधित किया। अपने संबोधन के शुरूआत करते हुए इमरान खान ने कहा कि आज मैं अपने दिल की बात करने आया हूं। उन्होंने कहा कि पाकिस्तान बनाने का मकसद बड़ा ही पाक था। उन्होंने कहा कि मै जिस पाकिस्तान का ख्वाब देखता था वैसा यह नहीं बना। इसी कारण मैं राजनीति में आया। मेरे घोषणापत्र में तीन बड़ी बातें थी। इंसान, इंसानियत और खुद्दारी। उन्होंने कहा कि किसी भी तरह की गुलामी गलत बात है। मैं अल्लाह का शुक्र गुजार हूं कि आजाद मुल्क में पैदा हुआ।इमरान खान ने कहा कि पाकिस्तान के लिए कुछ करने के लिए ही मैं राजनीति में आया। मैंने पाकिस्तान में ऊंच-नीच देखी है। एक समय पाकिस्तान का उदाहरण दिया जाता था। ईमान नहीं होता तो मैं राजनीति में नहीं आता। इमरान खान ने साफ तौर पर कहा कि जब मैंने 25 साल पहले राजनीति शुरू की थी तब कहा था कि न मैं किसी के सामने झुकूंगा, न अपनी कौम को किसी के सामने झुकने दूंगा। अपनी कौम को किसी की गुलामी नहीं करने दूंगा। उन्होंने कहा कि मैं भाग्यशाली हूं कि भगवान ने मुझे सब कुछ दिया- प्रसिद्धि, धन, सब कुछ। मुझे आज किसी चीज की ज़रूरत नहीं है, उसने मुझे सब कुछ दिया जिसके लिए मैं बहुत आभारी हूं। पाकिस्तान मुझसे सिर्फ 5 साल बड़ा है, मैं आजादी के बाद पैदा होने वाले देश की पहली पीढ़ी से हूं।